नई दिल्ली। भारत की डिजिटल पेमेंट क्रांति एक नया कीर्तिमान स्थापित कर चुकी है। यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI) के जरिए एक दिन में लेनदेन की संख्या ने पहली बार 70 करोड़ का आंकड़ा पार कर लिया है। यह ऐतिहासिक उपलब्धि 2 अगस्त 2025 को दर्ज की गई, जब कुल 70.7 करोड़ यूपीआई ट्रांजैक्शन रिकॉर्ड किए गए। यह जानकारी भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI) द्वारा साझा की गई है।
दो साल में दोगुनी हुई रफ्तार
एनपीसीआई के आंकड़ों के मुताबिक, अगस्त 2023 में प्रतिदिन लगभग 35 करोड़ यूपीआई ट्रांजैक्शन होते थे, जो अगस्त 2024 में बढ़कर 50 करोड़ हो गए। अब 2025 में यह आंकड़ा 70 करोड़ को पार कर गया, जो यह दर्शाता है कि पिछले दो वर्षों में डिजिटल भुगतान में जबरदस्त वृद्धि हुई है
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सरकार का 100 करोड़ लेनदेन का लक्ष्य
सरकार ने यूपीआई के जरिए रोजाना 100 करोड़ लेनदेन का महत्वाकांक्षी लक्ष्य तय किया है। जानकारों का मानना है कि मौजूदा ग्रोथ रेट को देखते हुए यह लक्ष्य अगले वर्ष तक आसानी से हासिल किया जा सकता है। इससे न केवल डिजिटल इंडिया मिशन को मजबूती मिलेगी, बल्कि देश के फिनटेक इंफ्रास्ट्रक्चर को भी एक नई दिशा मिलेगी।
एमडीआर पर फिर से हो रही चर्चा
वहीं दूसरी ओर, फिनटेक कंपनियों ने सुझाव दिया है कि यूपीआई के विकास को और गति देने के लिए मर्चेंट डिस्काउंट रेट (MDR) को फिर से लागू किया जाना चाहिए। कंपनियों का कहना है कि इससे मर्चेंट्स को बेहतर सेवाएं देने में मदद मिलेगी और नेटवर्क को और मजबूत किया जा सकेगा।
सब्सिडी में कटौती, लेकिन उम्मीदें बरकरार
गौरतलब है कि सरकार ने यूपीआई लेनदेन के लिए दी जाने वाली सब्सिडी को वित्त वर्ष 2024-25 में घटाकर 1,500 करोड़ रुपये कर दिया है। बावजूद इसके, फिनटेक सेक्टर को उम्मीद है कि तेजी से बढ़ती उपयोगकर्ता संख्या और टेक्नोलॉजी में निवेश के चलते यह सेक्टर निरंतर विस्तार करता रहेगा।
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