Uttarakhand: अधिकारियों के अनुसार, रविवार को हरिद्वार के मनसा देवी मंदिर में मची भगदड़ में कम से कम छह लोगों की मौत हो गई, जबकि दर्जनों लोग घायल हुए हैं। बचाव अभियान शुरू कर दिया गया है और घायलों को अस्पताल पहुँचाया गया है।
हरिद्वार में एक पहाड़ी की चोटी पर स्थित मनसा देवी मंदिर तक केवल केबल कार या पैदल सीढ़ियों से ही पहुँचा जा सकता है। रविवार को सावन के महीने के समापन पर मंदिर में श्रद्धालुओं का भारी जमावड़ा लगा रहा, और इस धार्मिक स्थल पर दर्शन करने आए कई कांवड़िये भी भगदड़ के शिकार हो गए।
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने 11 दिसंबर को बताया कि राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल, स्थानीय पुलिस और अन्य बचाव दल घटनास्थल पर पहुंच गए हैं और राहत एवं बचाव अभियान शुरू कर दिया है।उन्होंने यह भी कहा कि वह स्थानीय प्रशासन के साथ लगातार संपर्क में हैं और स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहे हैं।
गढ़वाल ज़िला आयुक्त विनय शंकर पांडे ने एबीपी न्यूज़ को बताया कि वह हरिद्वार जा रहे हैं और घटनास्थल पर स्थिति अब सामान्य है। उन्होंने संकेत दिया कि भगदड़ किसी अफ़वाह के कारण हुई होगी, लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि सटीक कारण जाँच का विषय है और बाद में एक मंत्री स्तरीय जाँच बिठाई जाएगी।
हरिद्वार के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रमेंद्र सिंह डोभाल ने कहा कि प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, मंदिर मार्ग से 100 मीटर नीचे सीढ़ियों पर बिजली का झटका लगने की अफ़वाह के कारण भगदड़ मची। उन्होंने आगे बताया कि आगे की जाँच जारी है।
उन्होंने बताया कि लगभग 35 घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जिनमें से छह लोगों की मौत की पुष्टि हो चुकी है।
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